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इस कोर्स के नामांकन अब बंद हो चुके हैं। अगले बैच के लिए
नामांकन कुछ समय बाद शुरू होंगे।

गीता संजीवनी एडवांस कोर्स परिचय
एडवांस कोर्स का प्रारंभ: जनवरी 2021
कोर्स का प्रारूप व संरचना:
लार्ड जगन्नाथ चैरिटेबल ट्रस्ट के अंतर्गत वर्ष 2008 से जयपुर में गीता की कक्षाएं अनेक केन्द्रों पर चल रही थीं। इतने वर्षों में हजारों लोग गीता के इस कार्यक्रम से जुड़ चुके थे।
ग्यारह साल तक गीता को नए और अनोखे तरीकों से पढ़ाने के बाद ट्रस्ट के फाउंडर आचार्य श्रीमान भूपेंद्र तायल को सन 2019 में ऐसी प्रेरणा हुई कि गीता के वार्षिक कोर्स में भगवान की वाणी का जितना लाभ साधकों को प्राप्त हो रहा है, उसके अतिरिक्त भी गीता की बातों में गहरा अर्थ है और मर्म की बात है जिसे साधकों तक पहुँचाया जा सकता है। इस लक्ष्य को पूरा करने के लिए उन्होंने गीता के एडवांस कोर्स की परिकल्पना की। इस कोर्स की समय सीमा रेगुलर कोर्स से ज्यादा होगी और इसमें जोर रहेगा भगवान की बातों को आचरण में लाने पर।
श्रीमान भूपेंद्र तायल को लगने लगा था कि गीता के कोर्स को कर लेना, परीक्षा में उत्तीर्ण हो जाना, मेरिट लिस्ट में नाम आ जाना, इतना काफी नहीं है। अक्सर साधक कोर्स में पढ़ी हुई बातों को परीक्षा तक ही याद रखते हैं और उनके अपने भावों में स्थायी परिवर्तन नहीं आता।
लार्ड जगन्नाथ ट्रस्ट के अंतर्गत पिछले ग्यारह साल से जयपुर में गीता को समझाने का कार्य विभिन्न केन्द्रों में चल रहा था। अब गीता की उस समझ को एक नए स्तर पर ले जाने की परिकल्पना गुरुदेव के मानस-पटल पर उभरने लगी।

कृष्ण की प्रेरणा और अपने इतने वर्षों के अनुभव के आधार पर आचार्य भूपेंद्र तायल ने एक नई पुस्तक लिखी – “गंतव्य की ओर”। यानी जानने योग्य, प्रसन्न करने योग्य और पूर्ण समर्पण करने योग्य भगवान् को पाने का भाव ऐसा बढ़े कि पढ़ने वालों को उन्हीं के रंग में रंग डाले। यह रंग ऐसा चढ़े कि कभी उतरे ही नहीं, कभी फीका ही न पड़े, बल्कि दिन-प्रतिदिन गाढ़ा होता जाए, साधक को भक्त बना दे, भक्त को प्रेमी बना दे और प्रेमी को प्रियतम गोविन्द से मिला दे।
गीता के इस एडवांस कोर्स की समय सीमा डेढ़ साल है और इसकी टेक्स्टबुक है “गंतव्य की ओर”
गीता की श्रेष्ठ व सूक्ष्म व्याख्या के अतिरिक्त इस कोर्स में उन्होंने भक्ति का स्वरुप बताने वाले “नारद भक्ति सूत्र” और कलियुग में प्रकट होने वाले श्रीराधाकृष्ण के मिलित अवतार चैतन्य महाप्रभु की विलक्षण लीलाओं का भी समावेश किया।
आचार्य भूपेंद्र तायल ने जिस एडवांस कोर्स की संरचना की थी उसका पहला सत्र अब पूर्णता की ओर अग्रसर हो चुका है।
जो साधक गीता एडवांस कोर्स के इस पहले सत्र में शुरू से लेकर आज तक जुड़े रहे हैं, उन्होंने इस कोर्स के बारे में अपनी प्रतिक्रियाएं अत्यंत भावपूर्ण और स्पष्ट शब्दों में व्यक्त की हैं। उन्होंने इस कोर्स का प्रभाव अपने दैनिक जीवन व अपने आचरण में अनुभव किया है। कुछ साधक एडवांस कोर्स की कक्षाओं को भगवान के प्रति भक्तिपूर्ण समर्पण की रसमयी श्रृंखला के रूप में देखते हैं।
भूपेंद्र तायल सर के द्वारा प्रवाहित यह गीता संजीवनी गंगा आज भी कृष्ण प्रेम के प्रशांत महासागर में लीन होने के लिए नवीन तरंगों का कलरव लिए आगे बढ़ रही है।

आप में से जो भी व्यक्ति गीताप्रेमी है और जो कृष्ण भक्त श्रीमान तायल सर के प्रचार-कार्य और प्रभाव से परिचित हैं, उन्हें यह जानकर ख़ुशी होगी कि अब अप्रैल 2022 से इस कोर्स का नया सत्र आरम्भ होने वाला है जिससे जुड़ने के लिए कुछ साधक रजिस्ट्रेशन भी करा चुके हैं।
Online Gita advanced course
अवधि: 1.5 वर्ष
आरंभ होने की तिथि : अप्रैल 2022 (सेकंड हाफ)
माध्यम: यह कोर्स वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के द्वारा आयोजित किया जाएगा।
उद्देश्य : कोर्स में यद्यपि गीता की विस्तृत व्याख्या होगी, किंतु इसमें गीता की बातों को आचरण में लाने पर विशेष जोर दिया जाएगा।
इस कोर्स की मुख्य बातें निम्नलिखित हैं: इसकी निर्देशित पाठ्य पुस्तक होगी।
गीता के हर अध्याय के बाद व्यवहारिक प्रश्नों वाला ऑनलाइन असाइनमेंट दिया जाएगा।
गीता के हर 6 अध्यायों के बाद ऑनलाइन परीक्षा होगी।
पूरे कोर्स की उपयोगिता और बढ़ाने के लिए गीता को भावपूर्ण एवं सरल हिंदी भाषा में समझाया जाएगा।
इस पूरे कोर्स का शुल्क ₹3500 मात्र है। इसमें लगभग ₹1000 का स्टडी मैटेरियल आपको भिजवाया जाएगा।
सप्ताह में 2 घंटे की केवल 1 क्लास होगी।
पात्रता :
1) ट्रस्ट के द्वारा संचालित 1 वर्ष के कोर्स (भगवद्गीता बेसिक) की अंतिम चरण की परीक्षा को पास करना। जिन्होंने 2019 या 2020 में प्रारंभ होने वाले कोर्स में प्रवेश लिया था वे यदि कोरोना से पहले तक नियमित रूप से (75% उपस्थिति) आते रहे थे उनकी भी पात्रता स्वीकृत रहेगी।
2) ऑनलाइन 6 महीने के कोर्स में जिनके दूसरे सत्र में कम से कम 50% मार्क्स आए हैं और अभी भी क्लास में नियमित रूप से आ रहे हैं।
इस कोर्स में भगवद्गीता के साथ साथ हम भक्ति मार्ग में आगे बढ़ने में योगदान देने वाले महापुरुषों के बारे में पढ़ेंगे:
1) नारद भक्ति सूत्र की भी व्याख्या सहित चर्चा होगी।
2) कृष्ण भक्ति में राधा रानी के भाव महानतम कहे गए हैं। उनके भावों का अनुभव करने के लालच में श्री कृष्ण ने राधा भाव में चैतन्य महाप्रभु के रूप में अवतार लिया था। यद्यपि उनका यह अवतार गूढ़तम है, फिर भी उसका अध्ययन किया जाएगा ।
इस कोर्स में थ्योरेटिकल नॉलेज के साथ-साथ प्रैक्टिकल एप्लीकेशन पर भी ध्यान दिया जाएगा।
हमारी भगवद्गीता क्लास के साधकों का भगवद गीता ऑनलाइन क्लास के बारे में विचार
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Bhagwad Gita Advanced Online Course in Hindi Highlights:
- Classes in Hindi
- Duration: 1.5 years (Fee: ₹3500/-)
- Classes through Video Conferencing
- Weekly one class of 2 Hours
- Study material (₹1000/-) will be couriered to you
- Assignments for Revision
- Exams to check your understanding of Geeta
- Certificate on successful completion of the course
- Limited Seats Available
भगवद् गीता हिंदी एडवांस कोर्स की मुख्य विशेषताएं:
- हिंदी में कक्षाएं
- अवधि: 1.5 साल (शुल्क: ₹3500/-)
- वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से कक्षाएं
- साप्ताहिक 2 घंटे की एक कक्षा
- अध्ययन सामग्री (₹1000/-) आपको भेज दी जाएगी
- पाठ्यक्रम को बेहतर समझने के लिए प्रश्नावली
- गीता की समझ की जांच करने के लिए परीक्षा
- पाठ्यक्रम के सफल समापन पर सर्टिफिकेट
- सीमित सीटें उपलब्ध हैं
Note: Click the Pay Now button below to pay the registration fee. Once the registration fee is paid, you will redirected to a registration form to complete the registration.
नोट: रजिस्ट्रेशन फीस भरने के लिए Pay Now बटन पर क्लिक करें। फीस भरने के बाद आपको एक रजिस्ट्रेशन फॉर्म दिखेगा जिसे भर कर आप अपना रजिस्ट्रेशन पूरा कर सकते हैं।